म्यांमार में तख्तापलट के बाद लोकतंत्र बहाली की आस में दो माह बीत गए हैं, परंतु प्रदर्शन और हिंसा की घटनाएं नहीं रुकी हैं। सेना द्वारा तख्तापलट के दो महीने होने पर विभिन्न शहरों में लोगों ने बृहस्पतिवार को भी प्रदर्शन किया। इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने लोकतंत्र को बहाल करने तथा हिरासत में लिए गए नेताओं को रिहा करने की मांग की। बता दें कि म्यांमार में एक फरवरी को तख्तापलट के बाद सुरक्षा बलों ने प्रदर्शनकारियों के खिलाफ लगातार सख्त कार्रवाई की है। पश्चिमी देशों द्वारा सैन्य शासन के खिलाफ पाबंदी के बावजूद प्रदर्शनकारियों के खिलाफ गोलीबारी की घटनाएं जारी हैं। देश के सबसे बड़े शहर यांगून में सूर्योदय के तुरंत बाद युवाओं के एक समूह ने प्रदर्शन में मारे गए 500 से ज्यादा लोगों की याद में बृहस्पतिवार को शोकगीत गाए। इसके बाद वे जुंटा शासन के खिलाफ नारेबाजी करते हुए और अपदस्थ की गई नेता आंग सान सू की को रिहा करने तथा लोकतंत्र को बहाल करने की मांग करते हुए सड़कों पर निकले। मांडले तथा अन्य शहरों में भी प्रदर्शनकारी एकत्र हुए। इससे पहले पुलिस ने कई जगह छापेमारी की और प्रदर्शनकारियों पर गोलीबारी की थी।
लोकतंत्र की आस में बीते दो महीने, नहीं रूक पाई हिंसा
