अंतर्राष्ट्रीय पर्यावरण विशेषज्ञ तथा फॉरेस्ट मैन के नाम से विख्यात पद्मश्री जादव पायेंग ने कई बार राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर अपनी कार्यशैली से असम का मान बढ़ाया है। इस बीच जादव पायेंग अब एक और सफलता हासिल करने की ओर आगे बढ़ रहे हैं। जादव पायेंग को उनकी हुनर का प्रदर्शन दिखाने के लिए अब मैक्सिको में बुलाया गया है। मालूम हो कि मैक्सिको सरकार के आह्वान पर जादव पायेंग मैक्सिको में पौधारोपण के लिए जाएंगे। मैक्सिको सरकार के साथ हुए एक समझौते के तहत पायेंग आगामी सितंबर महीने में मैक्सिको के लिए उड़ान भरेंगे। बताया जाता है कि मैक्सिको सरकार ने पौधारोपण के लिए लगभग आठ लाख हेक्टेयर जमीन को तैयार किया है। इस महान कार्य के लिए मैक्सिको सरकार ने दस वर्ष का एक समझौता भी किया है। इतना ही नहीं, सरकार की तरफ से पायेंग को दस वर्ष के लिए वीजा भी प्रदान किया जा चुका है। इस संदर्भ में पायेंग ने बताया कि अगले वर्ष से साल के तीन महीने वे मैक्सिको में रहेंगे। साथ ही उन्होंने बताया कि सितंबर, अक्टूबर व नवंबर महीने मैक्सिको में पौधारोपण के लिए अनुकुल होता है। पायेंग ने कहा कि पिछले साल मैक्सिको के राष्ट्रपति ने इस कार्य के लिए उनको आमंत्रित किया था। इन तीन महीने में पायेंग हर दिन एक लाख शिक्षार्थियों के साथ पौधारोपण का प्रशिक्षण तथा पौधारोपण करेंगे। खुद की मेहनत पर माजुली जैसे इलाके में एक जंगल बनाने के बाद अब पायेंग दूसरे देश में भी पेड़ों के जरुरत के बारे में जागरूकता फैला रहे हैं। अपने पूरे जीवन में जंगल व जंगली जानवर के हित के लिए सोचते हुए उन्होंने इस कार्य को अंजाम दिया, जिसके लिए भारत सरकार ने उन्हें पद्मश्री सम्मान प्रदान किया था। इस पत्रकार से हुई बातचीत में पायेंग ने बताया कि पूरी दुनिया मेरा घर है और युवा पीढ़ी मेरी ताकत है। आने वाली पीढ़ी के लिए दुनिया को हरा-भरा बनाना अत्यंत जरूरी है। उनका कहना है कि इसके लिए वे हरसंभव सहयोग देंगे और दुनिया में पर्यावरण को बचाने के लिए साल में एक बार सात दिनों का लॉकडाउन देना आवश्यक है। युवा पीढ़ी को पर्यावरण की प्रति जागरूक करने के लिए प्राथमिक पाठ्यक्रम में पर्यावरण विषय को लाना भी आवश्यक है,वहीं मातृभाषा में अगर सभी प्राथमिक शिक्षार्थियों को पर्यावरण के बारे में जानकारी दी जाएगी तो आने वाले दिनों में दुनिया हरी-भरी नजर आएगी। उल्लेखनीय है कि फॉरेस्ट मैन पायेंग आगामी सितंबर महीने में मैक्सिको के लिए रवाना होंगे। पायेंग ने बताया कि वह साथ में मैक्सिको में रोपण करने के लिए असम की विशेष पहचान तामुल व नारियल का पौधा भी साथ में लेकर जाएंगे। पायेंग की यह उपलब्धि राज्य तथा देश के लिए एक गौरव का विषय है।
फॉरेस्ट मैन जादव पायेंग को मिला मैक्सिको सरकार का आमंत्रण
