पूर्वांचल प्रहरी कार्यालय संवाददाता डिब्रूगढ़ : डिब्रूगढ़ स्थित मिनी सचिवालय में आज हुई कैबिनेट बैठक में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए। मुख्यमंत्री डॉ हिमंत विश्व शर्मा ने संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए गुवाहाटी, डिब्रूगढ़ व सिलचर के व्यपारियों व युवाओं के लिए खुशखबरी देते हुए कहा कि गुवाहाटी, डिब्रूगढ़ व सिलचर के सभी व्यपारिक प्रतिष्ठान अब से चौबीसों घंटे खुले रहेंगे। जिससे युवाओं को रोजगार के साथ ही व्यापार करने का मौका मिलेगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि चौबीस घंटे व्यपारिक प्रतिष्ठान खुले रहने से व्यपारियों व दुकानदारों को व्यापार को आगे बढ़ाने का अवसर मिलेगा, जिससे युवाओं को रोजगार के अवसर भी मिलेंगे। कारण कि हर प्रतिष्ठान में तीन चरण में कर्मचारियों को रखना होगा। कोई भी कर्मचारी 9 घण्टे से अधिक कार्य नहीं करेगा। इसके साथ साथ साप्ताहिक बंद भी नहीं रहेगा। यदि कोई व्यापारी प्रतिष्ठान बंद करना चाहे तो उसमें रोक नहीं है। वहीं चौबीस घंटे प्रतिष्ठान खुलने से जहाँ एक कर्मचारी काम करता था वहां दो अन्य कर्मचारियों को काम करने का मौका मिलेगा। इसके साथ ही चौबीस घंटे बाजार में लोगों की चहल पहल रहने से स्थानीय युवाओं को स्वरोजगार करने का भी अवसर मिलेगा। मुख्यमंत्री डा.शर्मा ने कहा कि इन तीनों शहरों के अलावा अन्य शहर के व्यापारी भी रात दो बजे तक अपनी-अपनी दुकानें खोल सकते हैं। उन्होंने कहा कि ग्रामीण इलाके के दुकानदार रात 11 बजे तक दुकान खोलकर रख सकते हैं। मुख्यमंत्री ने साफ शब्दों में सिर्फ शराब की दुकानों के लिए समय सीमा निर्धारित रहेगा। गुवाहाटी में रात दो बजे तक व डिब्रूगढ़ और सिलचर में रात के 12 बजे तक शराब की दुकानें खुली रहेंगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि असम कैबिनेट ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अटूट समर्थन के लिए उनका धन्यवाद ज्ञापन करती है। प्रधानमंत्री ने कल नामरूप में 12.7 लाख टन से अधिक क्षमता की यूरिया व एनुमिया प्लांट के निर्माण के लिए अनुमोदन दिया है। इस पूरे प्रकल्प के लिए 10,601 करोड़ रुपए निर्धारित किया गया है। प्रधानमंत्री ने केंद्रीय बजट और असम एडवांटेज 2.0 में भाग लेने के बाद ही केंद्रीय कैबिनेट से यह प्रस्ताव पारित करवाया। इस प्रकल्प में भारत सरकार की 60 व असम सरकार की 40 प्रतिशत भागेदारी होगी। यह संयंत्र न केवल कृषि क्षेत्र को बढ़ावा देगा बल्कि असम के लोगों के लिए अनेक रोजगार के अवसर भी पैदा करेगा। उन्होंने संभावना जताई कि प्रधानमंत्री सितंबर में जब दौरे पर आएंगे तो उनसे नए प्रकल्प का शिलान्यास कर सकते हैं। मुख्यमंत्री डॉ शर्मा ने एक अन्य महत्वपूर्ण घोषणा करते हुए कहा कि अरुणाचल प्रदेश में रहने वाले मोरान समुदाय के लोगों को स्थायी निवास प्रमाण पत्र नही मिलता है। कारण कि उनकी जड़ें असम में हैं। इस लिए असम सरकार उनकी मदद के लिए उन्हें असम के स्थायी निवास प्रमाण पत्र (पीआरसी) प्रदान करेगी। यह कदम वर्षों की वंचितता के बाद आया है, क्योंकि अरुणाचल सरकार ने इन व्यक्तियों को पीआरसी जारी नहीं किया था, जिससे वे विभिन्न लाभों तक पहुंचने से वंचित थे। उन्होंने कहा कि वे इस मुद्दे पर अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री के साथ बातचीत करेंगे। पीआरसी प्रदान करके हमारा उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि मोरान समुदाय रोजगार के अवसरों का लाभ उठा सकें, साथ ही असम में मेडिकल और इंजीनियरिंग कॉलेजों में सीटें सुरक्षित कर सके। पत्रकारों के प्रश्न पर मुख्यमंत्री ने अरुणाचल प्रदेश में रहने वाले मोरान जनगोष्ठीय लोगों ने इस समस्या को रखते हुए सरकार को स्मरपत्र दिया था। यदि और भी असम की कोई जनगोष्ठी के लोग ऐसी समस्या से जूझ रहे है तो वे भी असम सरकार से संपर्क करें। उनकी भी हर सम्भव मदद की जायेगी। इसके साथ ही मुख्यमंत्री ने चाय बागान क्षेत्र की सड़कों के निर्माण के लिए 262 करोड़ रुपये की मंजूरी की घोषणा की।
चौबीसों घंटे खुली रहेंगी दुकानें
