पूर्वांचल प्रहरी कार्यालय संवाददाता डिब्रूगढ़ :असम में हजारों लोगों को ऑनलाइन ट्रेडिंग के नाम पर दो हजार करोड़ की धोखाधड़ी करने वाले मुख्य आरोपी विशाल फुकन की मुंहबोली बहन व अभिनेत्री-कोरियोग्राफर सुमी बोरा और उनके फोटोग्राफर पति तार्किक बोरा को बृहस्पतिवार को डिब्रूगढ़ पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। उनकी गिरफ्तारी के बाद उन्हें डिब्रूगढ़ की अदालत में पेश किया गया जहां से अदालत ने उन्हें पांच दिनों के लिए पुलिस रिमांड पर भेज दिया। पुलिस की विशेष कार्य बल (एसटीएफ) ने दंपति को डिब्रूगढ़ जाते समय हिरासत में ले लिया। सुमी व तार्किक 10 दिनों से फरार थे और कल पुलिस के सामने आत्मसमर्पण करने की योजना बना रहे थे। उससे पहले ही एसआईटी के अधिकारियों ने उन्हें धर दबोचा। दोनों को गुरुवार को कड़ी सुरक्षा के बीच सुबह करीब 9 बजे डिब्रूगढ़ पुलिस स्टेशन लाया गया। जिसके बाद स्थानीय अदालत ने दोनों को 5 दिन की पुलिस हिरासत में भेज दिया। मालूम हो कि इससे पहले अभिनेता के भाई और उनकी भाभी के खिलाफ भी लुकआउट नोटिस जारी किया गया था। पुलिस ने इससे पहले 11 सितंबर को तार्किक बोरा के भाई अमलान बोरा को बिहार से गिरफ्तार करके एक बड़ी सफलता हासिल की थी। गौरतलब है कि कि लगभग तीन वर्षों से चल रहे इस घोटाले में ग्राहकों से एकत्रित धन को कंपनियों के शेयरों में निवेश किया गया था, जिसमें 60 दिनों में लगभग दोगुना रिटर्न देने का वादा किया गया था। कथित तौर पर यह पैसा कुछ निजी गैर-सूचीबद्ध कंपनियों में निवेश किया गया था। असम के पुलिस महानिदेशक ज्ञानेंद्र प्रताप सिंह ने एक्स पर पोस्ट किया कि अब उनका खेल खत्म हो गया है। टीम एसटीएफ को बधाई। एक दिन पहले सुमी बोरा ने आत्मसमर्पण करने के अपने फैसले की घोषणा करने के लिए सोशल मीडिया का सहारा लिया था। वित्तीय धोखाधड़ी में अपनी संलिप्तता से इनकार करते हुए उन्होंने कहा कि उन्हें मीडिया ट्रायल का शिकार बनाया गया। उन्होंने कहा कि जो बताया जा रहा है, उसका 10 प्रतिशत से भी कम सच है। अदालत को मुझे दोषी साबित करने का मौका मिलने से पहले ही मीडिया ने अपने आरोपों से मेरी जिंदगी बर्बाद कर दी है। उन्होंने कहा कि मानसिक तनाव के कारण वह चुप हो गई और कानून से बच नहीं पाई। सितंबर की शुरुआत में इस घोटाले का भंडाफोड़ हुआ था, जब डिब्रूगढ़ के 22 वर्षीय मास्टरमाइंड बिशाल फुकन को गिरफ्तार किया गया था। कथित तौर पर उसने 60 दिनों में लगभग दोगुना रिटर्न देने का वादा करके 1,500 से अधिक लोगों को ठगा था। कुछ निवेशकों ने दावा किया कि उन्होंने बिशाल फुकन की ओर से शुरू की गई धोखाधड़ी योजना में निवेश करने के लिए बैंकों से भारी कर्ज लिया या अपने सोने के गहने बेचे। उसने शुरू में कुछ ब्याज के साथ छोटी निवेशित राशि वापस कर दी, लेकिन जब ग्राहकों ने मुनाफे के लालच में बड़ी रकम निवेश करना शुरू कर दिया तो उसने निवेश करना बंद कर दिया। पुलिस के अनुसार सुमी बोरा बिशाल फुकन की ओर से निवेशकों को कम समय में अत्यधिक रिटर्न का वादा करके लुभाती थी। निवेशकों में कई व्यवसायी और डॉक्टर शामिल थे। आरोप है कि जिन निवेशकों ने करोड़ों की बड़ी रकम निवेश की थी, उनमें से अधिकांश पुलिस से संपर्क करने से कतराते हैं क्योंकि उन्होंने अपना काला धन निवेश किया था। नई-नई मिली दौलत ने बिशाल फुकन और सुमी बोरा को हर तरह की विलासिता का आनंद लेने की अनुमति दी। उन्हें अक्सर पांच सितारा होटलों में देखा जाता था और वे डिजाइनर कपड़ों, महंगी कारों और महंगे गैजेट्स पर खूब पैसा खर्च करने के लिए जाने जाते थे। डिब्रूगढ़ के एसपी राकेश रेड्डी ने कहा कि दोनों को एसटीएफ ने सुबह करीब 9 बजे डिब्रूगढ़ पुलिस को सौंप दिया। वे उनसे पूछताछ करेंगे और उनके विस्तृत बयान लेंगे, जिसके बाद एक स्पष्ट तस्वीर सामने आएगी। डिब्रूगढ़ पुलिस ने गुरुवार को डिब्रूगढ़ पुलिस स्टेशन केस नंबर 352/2024 के सिलसिले में सुमी बोरा और तार्किक बोरा दोनों को अदालत में पेश किया। डिब्रूगढ़ पुलिस ने सात दिनों की पुलिस हिरासत मांगी थी। अदालत ने दोनों को 5 दिनों की पुलिस हिरासत दी।