राज्य में पुलिस हिरासत में रहे आरोपियों पर एनकाउंटर में गोली चलाने की घटना के संदर्भ में मजिस्ट्रेट स्तर की जांच के साथ ही राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग ने भी डीजीपी से स्पष्टीकरण मांगा है, परंतु इसके बाद भी आरोपी तथा अपराधियों के खिलाफ असम पुलिस की राइफलें गरजती रही। कई एनकाउंटरों पर फर्जी होने की भी शिकायत की गई। इन सबके बावजूद मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत विश्वशर्मा ने बृहस्पतिवार को यह स्पष्ट कर दिया कि अपराधियों के खिलाफ पुलिस का एनकाउंटर जारी रहेगा। मुख्यमंत्री ने एनकाउंटर पर संदेह करने वाले लोगों की मानसिकता पर सवाल उठाया। उन्होंने संवाददाताओं से कहा कि क्या समाज में अपराध खत्म होना जरूरी नहीं है? क्या लोग चाहते हैं कि महिलाओं पर बलात्कार की घटनाएं होती रहें? ड्रग्स का सिंडिकेट चलता रहे? अगर लोग ऐसा ही चाहते हैं तो उन्हें बुलाकर सम्मानित करें। इसके बाद वे जो खुशी करते रहे। मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि संवाददाताओं द्वारा बार-बार एनकाउटंर पर सवाल करते रहने से उन्हें बहुत दुख होता है। उन्होंने यह स्पष्ट कर दिया कि जब तक वे मुख्यमंत्री रहेंगे तब तक अपराधियों पर कड़ा रुख अपनाया जाएगा। उन्होंने कहा कि राज्य में अपराध को किसी भी कीमत पर पूरी तरह लगाम लगाना है। इसके लिए जरूरत हुई तो कठोर से कठोर व्यवस्था की जाएगी। उन्होंने मंतव्य किया कि जो लोग एनकाउंटर को संदेह की दृष्टि से देखते हैं वे जहां चाहें तो शिकायत दाखिल कर अपनी संतुष्टि कर सकते हैं।